
पाकिस्तान ने ड्रोन और मिसाइलों से जम्मू को निशाना बनाने की नाकाम कोशिश की। भारतीय सेना ने पाकिस्तानी वायुसेना के एक एफ-16 सुपरसोनिक लड़ाकू विमान को मार गिराया। इसके लिए भारतीय सेना ने मिसाइल वायु रक्षा प्रणाली का इस्तेमाल किया, जो सतह से हवा में मार करने वाली है।

भारतीय सेना ने बृहस्पतिवार शाम को पाकिस्तानी वायुसेना के एक एफ-16 सुपरसोनिक लड़ाकू विमान को मार गिराया। सूत्रों के मुताबिक, मिसाइल वायु रक्षा प्रणाली ने सतह से हवा में मार करने वाली मिसाइल विमान पर दागी। यह घटना तब हुई, जब पाकिस्तान ने ड्रोन और मिसाइलों से जम्मू को निशाना बनाने की कोशिश की, जिसे सेना ने नाकाम कर दिया।

सूत्रों ने बताया कि एफ-16 लड़ाकू विमान ने पाकिस्तानी वायुसेना के प्रमुख एयरफोर्स स्टेशन सरगोधा एयरबेस से उड़ान भरी थी। जिसे भारतीय एसएएम ने सरगोधा एयरबेस के पास ही मार गिराया। सरगोधा पाकिस्तानी वायुसेना का अग्रिम पंक्ति का हवाई अड्डा है, जिसके पास चीनी और फ्रांसीसी लड़ाकू विमान हैं। यह अड्डा पाकिस्तान के पंजाब प्रांत में स्थित है।
अखनूर व जैसलमेर में गिराए दो एफ-16 और दो जेएफ-17
इसके अलावा, गुरुवार रात भारत ने जवाबी कार्रवाई में पाकिस्तान के चार लड़ाकू विमान मार गिराए। इनमें अमेरिका निर्मित दो एफ-16 और चीन निर्मित दो जेएफ-17 हैं। जैसलमेर में गिराए एफ-16 और अखनूर में गिराए गए अन्य विमान के दो पायलटाें को सैन्य बलों ने हिरासत में ले लिया।
पाकिस्तान को अमेरिका से मिला था एफ-16
एफ-16 विमान 1980 के दशक के अंत में अमेरिका से मिला था। तब से इसमें कई अपग्रेड किए गए हैं। एफ-16 पाकिस्तान की वायुसेना का एक मुख्य लड़ाकू विमान है। इसका इस्तेमाल पाकिस्तान ने 2019 में भारत के बालाकोट एयरस्ट्राइक के जवाब में किया था। उस समय भारत के विंग कमांडर अभिनंदन ने एक मिग-21 विमान से एक एफ-16 को गिरा दिया था। यह भारत और पाकिस्तान के बीच 1971 के युद्ध के बाद पहली सीधी हवाई झड़प थी। सरगोधा एयरबेस पहले भी 1965 और 1971 के युद्ध में भारत पर हमले के लिए इस्तेमाल हुआ था।

भारतीय एयर स्ट्राइक के बाद भारत-पाकिस्तान में बढ़ा तनाव
22 अप्रैल को जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में आतंकी हमले के बाद भारत ने 6-7 मई की दरमियानी रात एयर स्ट्राइक कर 9 आतंकी ढांचों को तबाह कर दिया। इसके बाद से भारत और पाकिस्तान के बीच तनाव बढ़ गया है। बृहस्पतिवार को पाकिस्तान ने ड्रोन और मिसाइलों से जम्मू और राजस्थान के कई इलाकों को निशाना बनाया। हालांकि, भारतीय सेना ने तत्परता दिखाते हुए पाकिस्तान के सारे नापाक इरादे विफल कर दिए। इसके बाद से अंतरराष्ट्रीय सीमा पर राजस्थान के कई इलाकों में ब्लैकआउट किया गया है। वहीं, जम्मू में आरएस पुरा, अरनिया, सांबा और हीरानगर के इलाकों में भारी गोलाबारी हो रही है।
पंजाब के पठानकोट सहित कई जगहों पर ब्लैकआउट
इसके अलावा, अंतरराष्ट्रीय सीमा पर स्थित पंजाब के पठानकोट पर भी पाकिस्तान की ओर से भारी गोलीबारी की गई। यह अंतरराष्ट्रीय सीमा से 30 किलोमीटर दूर स्थित है। इस बीच, चंडीगढ़ में सायरन बजाया गया है और ब्लैकआउट लागू कर दिया गया है। दुकानों को बंद करने और लोगों को घर जाने के लिए कहा गया है। पड़ोसी मोहाली में भी ब्लैकआउट लागू कर दिया गया है।
भारतीय सेना ने नाकाम किए पाकिस्तानी हमले: IDS
एकीकृत रक्षा स्टाफ (आईडीएस) ने एक अपडेट में कहा कि पाकिस्तान ने जम्मू, पठानकोट और उधमपुर के पास के सैन्य ठिकानों पर ड्रोन और मिसाइलों से हमला करने की कोशिश की, लेकिन भारतीय सेना ने उन्हें रोक दिया और कोई नुकसान नहीं हुआ। इससे पहले, पाकिस्तान ने श्रीनगर, जम्मू, पठानकोट, अमृतसर, जालंधर, लुधियाना, भटिंडा, चंडीगढ़ और गुजरात के कुछ हिस्सों में भी हमला करने की कोशिश की थी। भारत ने मानव रहित विमान प्रणाली ग्रिड (यूएएस ग्रिड) और वायु रक्षा प्रणाली का इस्तेमाल करके पाकिस्तान के इन हमलों को नाकाम कर दिया।
सूत्रों के अनुसार, भारतीय सेना की एयर डिफेंस यूनिट्स द्वारा चलाए गए बड़े पैमाने पर ड्रोन-विरोधी अभियान में 50 से अधिक ड्रोन सफलतापूर्वक मार गिराए गए। ये ड्रोन हमले उधमपुर, सांबा, जम्मू, अखनूर, नगरोटा और पठानकोट जैसे संवेदनशील क्षेत्रों को निशाना बनाने के प्रयास में किए गए थे। सेना ने इन हमलों के जवाब में L-70 एंटी-एयरक्राफ्ट गन, Zu-23 मिमी तोपें, शिल्का सिस्टम्स और अन्य आधुनिक काउंटर-यूएएस उपकरणों का व्यापक रूप से इस्तेमाल किया। एक सैन्य सूत्र ने बताया, “सेना की त्वरित प्रतिक्रिया और उच्च स्तरीय समन्वय ने सुनिश्चित किया कि कोई भी ड्रोन भारतीय सीमा के भीतर गहराई तक प्रवेश नहीं कर सका। सभी को सफलतापूर्वक रोका और नष्ट किया गया।”
पाकिस्तान की तरफ से ऑपरेशन सिंदूर के अगले दिन ही अवंतीपुरा, श्रीनगर, जम्मू, पठानकोट, अमृतसर, कपूरथला, जालंधर, लुधियाना, आदमपुर, भटिंडा, चंडीगढ़, नाल, फलोदी, उत्तरलाई और भुज में हमला किया था. इन सभी क्षेत्रों में भारत की इंटीग्रेटेड काउंटर यूएएस ग्रिड और एयर डिफेंस सिस्टम ने शानदार तालमेल दिखाते हुए दुश्मन की हर कोशिश को नाकाम कर दिया. मलबे की बरामदगी ने हमले की पुष्टि की है. एस-400 दुनिया की सबसे उन्नत लंबी दूरी की एयर डिफेंस सिस्टम में से एक है. इसका निर्माण रूस की अल्माज-एंते द्वारा किया गया है और इसे भारत की स्ट्रैटेजिक एयर डिफेंस कमांड शामिल किया गया है. इसे फाइटर जेट, मिसाइल, ड्रोन और यहां तक कि बैलिस्टिक मिसाइलों सहित अन्य हवाई खतरों को ट्रैक करने, इंटरसेप्ट करने और नष्ट करने के लिए डिजाइन किया गया है. यह एयर डिफेंस सिस्टम अलग-अलग दूरी और ऊंचाई पर टारगेट को हिट करने में सक्षम है, जिस कारण यह दुश्मन के हवाई हमलों के खिलाफ भारत का रक्षा कवच बना रहा।